FATF के खौफ से पाकिस्तान ने हाफिज सईद पर की कार्रवाई, टेरर फंडिंग मामले में 15 साल कैद की सजा

लाहौर। आतंकवाद को लेकर हमेशा दोहरा चरित्र दुनिया के सामने पेश करने वाले पाकिस्तान ने अब फाइनैंशियल ऐक्शन टास्क फोर्स ( FATF ) की कार्रवाई से बचने के लिए एक बार फिर से नया पैंतरा चलना शुरू कर दिया है।
कुछ दिनों बाद FATF की बैठक होने वाली है, उससे पहले पाकिस्तान एक-एक करके अपने पालतु आतंकियों को सलाखों के पीछे डाल रहा है, ताकि ब्लैक लिस्ट होने से बच जाए। इसी कड़ी में अब पाकिस्तान ने मुंबई हमले के साजिशकर्ता और प्रतिबंधित आतंकी संगठन जमात-उद-दावा ( Jamat-ud Dawah, JuD ) के प्रमुख हाफिज सईद ( Hafiz Saeed ) को सजा सुनाई है।
पाकिस्तान की एक आतंकवाद निरोधी कोर्ट (ATC) ने मंगलवार को आतंकी हाफिज सईद और उनके दो सहयोगियों को टेरर फंडिंग ( Terror Financing Case ) के मामले में 15-15 साल से अधिक कैद की सजा सुनाई है। लाहौर स्थित ATC ने हाफिज सईद के जीजा अब्दुल रहमान मक्की ( Abdul Rehman Makki ) को भी छह महीने कैद की सजा सुनाई है। इसके अलावा जमात-उद-दावा के प्रवक्ता याहया मुजाहिद ( Yahya Mujahid ) को भी सजा सुनाई है।
अदालत के एक अधिकारी ने मीडिया को बताया कि आतंकवाद निरोधी अदालत के जज अरशद हुसैन भुट्टा ( Arshad Hussain Bhutta ) ने याहिया मुजाहिद और जफर इकबाल को साढ़े 15-15 साल कैद और अब्दुल रहमान मक्की को पंजाब पुलिस के काउंटर टेररिज्म डिपार्टमेंट की ओर से दर्ज किए गए एक मामले में छह महीने की कैद की सजा सुनाई है। इससे पहले कोर्ट ने मुजाहिद को टेरर फंडिंग के तीन अलग-अलग मामलों में 47 साल कैद की सजा सुना चुकी है।